
जमशेदपुर। क़ौमी सिख मोर्चा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अधिवक्ता कुलबिंदर सिंह ने शहर के सभी गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी के प्रधान से आग्रह किया है कि वे पंथ दोषी अहंकारी भगवान सिंह को कार्यालय से बाहर करें l प्रधान खुद तय करें कि श्री गुरु ग्रंथ साहिब जी, गुरु का पंथ और कौम उनके लिए पहले है अथवा सरमाएदार भगवान सिंह?
कुलविंदर सिंह के अनुसार सेंट्रल गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी के अंदर भगवान सिंह केंद्रीय गुंडा प्रोटेक्शन कमेटी चला रहे हैं, यह उनके खिलाफ पुलिस में दी गई शिकायत से साबित होता है।
मुझ पर अपने कार्यालय में दो बार हमला करवाया, अवतार सिंह भाटिया के घर में गुंडे भेजे और फिर उसने गुरुवार को गुरु के पंथ एवं शहीद बाबा दीप सिंह की हस्तलिखित श्री गुरु ग्रंथ साहिब जी का अपमान किया। जब बिना अरदास, बिना पांच प्यारों की पवित्र उपस्थिति के पालकी साहब वाली गाड़ी में जूते पहनकर स्टेरिंग पर बैठ गया।
शहर के प्रधान, स्त्री सत्संग सभा एवं नौजवान सभा के पदाधिकारी अच्छी तरह जानते हैं कि उनके खिलाफ एक स्त्री ने दुष्कर्म का आरोप लगा रखा है। यदि गुरमुख सिंह के मामले में वह स्त्री सच्ची थी तो अभी झूठी कैसे हो गई है? आखिरकार कब तक भगवान सिंह का पाप ढोएंगे और उसकी गुंडागर्दी सहेंगे। भगवान सिंह ने अति कर दी है। अब उसे कार्यालय में बैठने देना मतलब पूरे सिख क़ौम की बदनामी है। ऐसा गंदा बंदा हमारा नुमाइंदा नहीं हो सकता है।